उत्तर प्रदेश के मेरठ जनपद के मेडिकल थाने की एक तस्वीर सोशल मीडिया में वायरल है। इस तस्वीर में थाने का बाहर एक पोस्टर लगा हुआ है। पोस्टर पर लिखा है कि भाजपा कार्यकर्ताओं का थाने में आना मना है, पोस्टर के नीचे थाना प्रभारी संतशरण सिंह का नाम लिखा है। पोस्टर की तस्वीर के साथ दावा किया जा रहा है कि थाना प्रभारी ने पोस्टर लगवा कर भाजपा नेताओं को थाने में आने से मना किया है हालाँकि यह दावा गलत है।
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट कर लिखा है कि ऐसा पहली बार हुआ है इन पाँच-छह सालों में, सत्तापक्ष के लोगों का आना मना हुआ थानों में। ये है उप्र की भाजपा सरकार का बुलंद इक़बाल।
ऐसा पहली बार हुआ है इन पाँच-छह सालों में
सत्तापक्ष के लोगों का आना मना हुआ थानों मेंये है उप्र की भाजपा सरकार का बुलंद इक़बाल! pic.twitter.com/KaBzD0iq3F
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) May 27, 2022
एक यूजर सत्या भारती ने ट्वीट कर लिखा, ‘थाने में भाजपा कार्यकर्ताओ का आना मना है, मेरठ के मेडिकल थाना के प्रभारी की हिम्मत को सलाम।’
“थाने में भाजपा कार्यकर्ताओ का आना मना है”
मेरठ के मेडिकल थाना के प्रभारी की हिम्मत को सलाम 👌👌 pic.twitter.com/6JcN9WNnvu
— Satya Bharti (@Satyalivelko) May 27, 2022
समाजवादी पार्टी के ही नेता मनोज काका ने ट्वीट कर लिखा है, ‘बीजेपी नेताओं के दलाली से आजिज़ आकर मेरठ में थाने बाहर “भाजपा कार्यकर्ताओं का थाने में आना मना है “ का पोस्टर लगा दिया गया। यही तो माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव जी कहते हैं कि आजकल यूपी के थाने बीजेपी के नेता चला रहे है, शर्म करो बीजेपी वालों।’
सपा नेता मोहम्मद सोहेल सिद्दकी ने ट्वीट कर लिखा, ‘एसएचओ मेडिकल थाना जनपद
मेरठ जी के द्वारा भाजपा कार्यकर्ताओं से दुखी होकर थाने के मुख्य द्वार
पर लगा दिया बोर्ड भाजपा कार्यकर्ताओं का थाने में आना मना है। सराहनीय
पहल।’ जबकि आम आदमी पार्टी के नेता हिर्देश चौधरी ने ट्वीट कर लिखा कि
भाजपा में कार्यकर्ता को देवतुल्य कहा जाता है और यहां क्या हाल है। भक्तों
का इतना बुरा हाल। साथ ही कांग्रेस नेता जाकिया खान ने ट्वीट कर लिखा है
कि भाजपा कार्यकर्ताओं की गुंडागर्दी से मेरठ थाने के थाना प्रभारी भी
परेशान लगते है।अब उन्होंने थाने के बाहर बैनर लगवा दिया है जिसमें लिखा
गया है “भाजपा कार्यकर्ताओं का थाने में आना मना है।”
इसके अलावा कई सोशल मीडिया यूजर ने इसी दावे के साथ इस तस्वीर को वायरल किया है।
क्या है हकीकत?: पड़ताल में हमे सबसे पहले मेरठ पुलिस के ट्वीटर अकाउंट पर एसएसपी प्रभाकर चौधरी का एक वीडियो मिला। एसएसपी के मुताबिक शुक्रवार 2 बजे थाने में दुकान पर कब्जे को लेकर देवर-भाभी का विवाद था, इस मामले की समझौते की बात चल रही थी। इस दौरान एक पक्ष के समर्थन में कुछ असमाजिक तत्व के लोगों ने दबाव पर डालना शुरू कर दिया। उसी भीड़ में से एक व्यक्ति ने 20 मिनट में बाद एक पोस्टर थाने पर लगा दिया गया। पुलिस की तरफ से पोस्टर नहीं लगाया गया है, आरोपियों के नाम सामने आ गए हैं, उनकी गिरफ्तारी का प्रयास चल रहा है। ट्वीट में बताया गया है कि 4 नामजद व 15-20 अज्ञात के खिलाफ थाना मेडिकल पर मुकदमा लिखा गया है।
असामाजिक तत्वों द्वारा पुलिस पर अनुचित दबाव हेतु प्रदर्शन किया उन्हीं के द्वारा बैनर लगाकर पुलिस की छवि धूमिल करने हेतु फोटो/वीडियो वायरल किया,पहचान कर 4 नामजद व 15-20 अज्ञात के विरुद्ध थाना मेडिकल पर मु0अ0सं0 212/22 धारा 147/352/353/505(2) भादवि तथा 7 CLA Act पंजीकृत किया है। pic.twitter.com/ianuMWDmev
— MEERUT POLICE (@meerutpolice) May 27, 2022
वहीं नगर पुलिस अधीक्षक विनीत भटनागर ने बताया है कि कुछ व्यक्तियों द्वारा एक प्रोपर्टी को जबरन खाली करने का पुलिस पर दबाव बनाया गया जबकि पुलिस ने दोनों पक्षों की वार्ता करवा दी थी लेकिन कुछ लोगों ने पुलिस को दबाव में लेने के लिए भीड़ जमा की गयी, धरना-प्रदर्शन किया गया। इन्ही व्यक्तियों द्वारा एक राजनैतिक दल का पोस्टर लगाया गया है और यह वीडियो में भी नजर आ रहा है। इस पोस्टर को थानाध्यक्ष की तरफ से लिखा गया बताया गया है जबकि वीडियो से पता चलता है कि यही लोग पोस्टर को लेकर आए हैं। इस पोस्टर को किसने लगाया, किसने छापा और यहाँ कैसे आए, इन सभी की जांच चल रही है और आरोपियों के खिलाफ कार्रवाही की जाएगी।
थाना मेडिकल पर लगे बैनर की वायरल वीडियो के संबंध में पुलिस अधीक्षक नगर मेरठ द्वारा वीडियो बाइट I #MeerutPolice #UPPolice pic.twitter.com/NyVhGeBrFu
— MEERUT POLICE (@meerutpolice) May 27, 2022
मेरठ पुलिस ने अगले एक ट्वीट में बताया है कि थाना मेडिकल पर हंगामा करने एवं आपत्तिजनक बैनर लगाने के सम्बन्ध में शम्भू पहलवान उर्फ प्रशान्त कौशिक, सागर पोसवाल, कुलदीप मसूरी, अंकुर चौधरी, अमित भड़ाना, अमर शर्मा को गिरफ्तार किया गया है।
थाना मेडिकल पर हंगामा करने एवं आपत्तिजनक बैनर लगाने के सम्बन्ध में अ0सं0 212/22 धारा 147/352/353/505(2) भादवि तथा 7 CLA Act में वीडियो फुटेज के आधार पर चिन्हित 1.शम्भू पहलवान उर्फ प्रशान्त कौशिक 2.सागर पोसवाल 3.कुलदीप मसूरी 4.अंकुर चौधरी 5.अमित भड़ाना 6.अमर शर्मा को गिरफ्तार किया pic.twitter.com/xIkRKbnoSj
— MEERUT POLICE (@meerutpolice) May 28, 2022
पड़ताल में हमे एक वीडियो मिला जिसका जिक्र विनीत भटनागर कर रहे हैं, इस वीडियो में एक युवक पोस्टर लगाता हुआ नजर आ रहा है। पोस्टर लगाने के बाद ये वीडियो थाने में चला जाता है। इसके अलावा एक दूसरे वीडियो में कई युवक थाने के अंदर इस पोस्टर को थामे हुए खड़े हैं। वीडियो में इनके आसपास पुलिसकर्मी भी नजर आ रहे हैं। इसी पोस्टर को बाद में थाने के बाहर लगाया गया है।
इस दूसरे वीडियो में थाने में कई युवक पोस्टर थामे खड़े हुए हैं। pic.twitter.com/pHZBde0Ysh
— Fact Myths (@FactMyths) May 27, 2022
पड़ताल में हमे एक समाचार बेबसाईट की खबर मिली, जिसके मुताबिक इंचोली
थाना क्षेत्र के मसूरी निवासी पूजा का विवाह 4 साल पहले नौचंदी थाना
क्षेत्र के वैशाली कॉलोनी निवासी अवधेश से हुआ था। अवधेश की दुकान गढ़ रोड
मेडिकल थाना क्षेत्र में है। जहां 8 माह पहले अवधेश की मौत बीमारी से हो गई
थी।
आरोप है कि ससुर श्याम सिंह और देवर अनुज ने विवाहिता को घर
से निकाल दिया था। अवधेश की दुकान पर भी कब्जा हो गया। शुक्रवार को पीड़िता
के पक्ष में बीजेपी कार्यकर्ता भी थाने पहुंच गए। पुलिस ने इस बीच दूसरे
पक्ष को भी वहां बुला लिया। आरोप है कि पुलिस ने बीजेपी कार्यकर्ताओं से
अभद्रता की जिसके बाद वो धरने पर बैठ गए।
निष्कर्ष: मेडिकल थाने के बाहर थाना प्रभारी के नाम से पोस्टर पुलिस ने नहीं लगवाया था।