‘वारिस पंजाब दे’ के मुखिया और खालिस्तानी समर्थक अमृतपाल सिंह के खिलाफ पंजाब पुलिस का ऑपरेशन चल रहा है। इस बीच सोशल मीडिया में खालिस्तान समर्थक अलग-अलग तरह से दुष्प्रचार कर रहे हैं। खालिस्तान समर्थकों द्वारा हिंदी-हिंदू के खिलाफ नफरत परोसी जा रही है। साथ ही इससे सिखों को भड़काया जा रहा है। इसके लिए कई नए ट्वीटर अकाउन्ट्स भी बनाए गए हैं। सोशल मीडिया में खालिस्तान समर्थकों के इस अभियान में पाकिस्तानी भी सहयोग कर रहे हैं।
खालिस्तान समर्थकों द्वारा ट्वीटर पर #FreeAmritpalSingh, #AmritpalSinghKhalsa और #Punjabundersiege ट्रेंड्स चलाए जा रहे हैं। हमने अपनी इस रिपोर्ट में सोशल मीडिया में चल रहे ट्रेंड्स और अकाउन्ट्स का एनालिसिस किया है।
सोशल मीडिया में इन ट्रेंड्स में,
- खालिस्तान समर्थक रंजीत सिंह ने ट्वीट कर लिखा है कि भारत सरकार ने बेगुनाह सिखों को मारने वालों को इनाम देने की घोषणा की है।
- एक यूजर ने लिखा है कि हिंदू नए औरंगजेब हैं, सिख समुदाय को इनसे सारे संबंध तोड़ लेने चाहिए।
- खालिस्तान समर्थक जी-20 शिखर सम्मेलन के जरिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर दबाव बनाने की बात लिख रहे हैं।
- अमृतपाल की गिरफ्तारी के मामले में यूजर अमेरिकी पॉप स्टार रिहाना से आवाज उठाने की अपील कर रहे हैं। दरअसल रिहाना ने बीते साल किसान आदोलन के समर्थन में ट्वीट किया था। एक रिपोर्ट के मुताबिक किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट करने के लिए करीब ढाई मिलिनयन यूएस डॉलर यानी 18 करोड़ रुपए लिए थे। रिहाना ने खालिस्तानी लिंक वाली एक पीआर फर्म से यह रकम ली थी।
गिरफ्तारी के अलग-अलग दावे,
- गुरुतरण सिंह ने ट्वीट लिखा है कि पंजाब में 1500 सिखों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
- अमनदीप सिंह ने लिखा है कि 5000 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
- खालिस्तान सिंह ने लिखा है कि 500 लोगों को गिरफ्तार कर नार्थ इंडिया ले जाया गया है।
वहीं पंजाब के IGP सुखचैन सिंह गिल ने बताया है कि अब तक कुल 154 लोगों को गिरफ्तार कर हिरासत में लिया गया है। राइफल और रिवाल्वर समेत करीब 12 हथियार बरामद किए गए हैं। साथ ही अमृतपाल के चाचा समेत 5 लोगों को असम ले जाया गया है।
पंजाब में एक वकील जसपाल सिंह ने भी एक लिस्ट तैयार की है जिसके मुताबिक 154 लोगों को गिरफ्तार किया है। जाहिर है खालिस्तान समर्थक गिरफ्तारी की संख्या को बढ़ा-चढ़ाकर सिखों को भड़काने की कोशिश कर रहे हैं।
बाल काटने के नाम पर सिखों को भड़काने की कोशिश,
पंजाब पुलिस ने फरार अमृतपाल सिंह की अलग अलग लुक्स की फोटो जारी की हैं। पुलिस ने फोटो जारी करते हुए लोगों से मदद मांगी है कि अगर कोई पहचाने तो जानकारी दे। इन फोटो में अमृतपाल बिना पगड़ी के भी नजर आ रहा है। चूँकि सिखों में पगड़ी सम्मान का प्रतीक है इसीलिए बिना पगड़ी वाली फोटो सामने आने के बाद खालिस्तान समर्थक लिख रहे हैं कि अगली बार अमृतपाल सिंह के केश(बाल) भी काटे जा सकते हैं।
A 30yo man landed in India after 10yrs and within six months he is powerful enough to lead a mob of thousands that barged into the police station and got his aide released within hours.
Is #ApritpalSinghSandhu an organically rose leader or a planted one?
Exclusive thread!
1/ pic.twitter.com/1I6hfJnr0h— The Hawk Eye (@thehawkeyex) February 28, 2023
हालांकि पंजाब पुलिस के इस ऑपरेशन के पहले से ही अमृतपाल सिंह की बिना पगड़ी की तस्वीरें सोशल मीडिया में मौजूद हैं। यह तस्वीरें अमृतपाल सिंह के सोशल मीडिया हैंडल्स से ली गयी हैं। भारत आने से पूर्व अमृतपाल सिंह पगड़ी नहीं पहनता था।
एसएसपी सतिंदर सिंह के खिलाफ दुष्प्रचार,
खालिस्तान समर्थक अमृतसर देहात के वर्तमान एसएसपी सतिंदर सिंह के खिलाफ दुष्प्रचार कर रहे हैं। उन्हें Butcher (कसाई) कहा जा रहा है। सतिंदर सिंह के पिता स्वर्ण सिंह साल 1989 में कपूरथला के एसएसपी थे। एसएसपी स्वर्ण सिंह आतंकियों के खिलाफ अभियान का हिस्सा थे। इस दुष्प्रचार में उनके पिता को भी नहीं बख्शा गया है, इसके लिए बाकायदा ग्राफिक्स डिजाइन किए गए हैं और स्वर्ण सिंह को पंजाब में आतंकवाद के दौरान बच्चों, महिलाओं का बलात्कारी बताया जा रहा है।
खालिस्तान समर्थक ‘द आनंदपुर टाइम्स’ ने भी एक पोस्ट में एसएसपी सतिंदर सिंह के खिलाफ लिखा है कि अमृतपाल सिंह पर क्रूर अत्याचार किया जा रहा है। उनका स्वास्थ्य लगातार खराब हो रहा है। अगर जल्द से जल्द चिकित्सा देखभाल नहीं दी जाती हैं तो इंडियन स्टेट अमृतपाल की हत्या का जिम्मेदार होगा। इस दावे का पंजाब पुलिस ने खंडन किया है।
ਪੰਜਾਬ ਦੀ ਸ਼ਾਂਤੀ ਅਤੇ ਸਦਭਾਵਨਾ ਨੂੰ ਭੰਗ ਕਰਨ ਲਈ ਸੋਸ਼ਲ ਮੀਡੀਆ ‘ਤੇ ਕਈ ਤਰ੍ਹਾਂ ਦੇ ਝੂਠੇ ਦਾਅਵੇ ਕੀਤੇ ਜਾ ਰਹੇ ਹਨ।
ਅਸੀਂ ਤੁਹਾਨੂੰ ਸਾਰਿਆਂ ਨੂੰ ਅਫਵਾਹਾਂ ਫੈਲਾਉਣ ਵਾਲਿਆਂ ਤੋਂ ਦੂਰ ਰਹਿਣ ਅਤੇ ਸੋਸ਼ਲ ਮੀਡੀਆ ਪਲੇਟਫਾਰਮਾਂ ‘ਤੇ ਸ਼ੇਅਰ ਕਰਨ ਤੋਂ ਪਹਿਲਾਂ ਖਬਰਾਂ ਦੀ ਪੁਸ਼ਟੀ ਕਰਨ ਦੀ ਸਲਾਹ ਦਿੰਦੇ ਹਾਂ।#FakeDiKhairNahi pic.twitter.com/zzycgAWWOp
— Punjab Police India (@PunjabPoliceInd) March 21, 2023
हिंदी भाषा के खिलाफ नफरत,
अमृतपाल सिंह के खिलाफ ऑपरेशन पर सीएम भगवंत मान ने अपना संदेश दिया था। सीएम भगवंत मान ने देश को अपने संबोधन में कहा है कि पंजाब का अमन-चैन हमारी प्राथमिकता है और इसकी शांति से खिलवाड़ नहीं होने देंगे। सीएम मान ने संबोधन में हिंदी भाषा का इस्तेमाल किया जिसके बाद खालिस्तान समर्थक हिंदी भाषा के खिलाफ अपनी नफरत दिखाते हुए भगवंत मान को अपशब्द लिख रहे हैं।
आरएसएस के नाम पर भड़काने की कोशिश
खालिस्तान समर्थक एक तस्वीर शेयर कर दावा कर रहे हैं कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ(आरएसएस) का सदस्य भारतीय झंडे को जला रहा है। यूजर ने ट्वीट कर लिखा है कि अगर कोई सिख या मुस्लिम शख्स ऐसा करता तो इसका क्या परिणाम होगा? पंजाब में अभी यही हो रहा है।
हालाँकि पड़ताल में पता चलता है कि यह तस्वीर साल 2018 की है। टाइम्स ऑफ इंडिया और न्यू इंडिया एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक तमिलनाडु के एक शिक्षक ने उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद भी कावेरी प्रबंधन बोर्ड (सीएमबी) के गठन से केंद्र सरकार के इनकार के विरोध में राष्ट्रीय ध्वज को जलाया। शिक्षक ने तिरंगा जलाकर केंद्र सरकार का विरोध किया था, घटना के बाद आरोपी टीचर को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। यह शिक्षक आरएसएस से नहीं है।
नए अकाउन्ट्स की तादाद बढ़ी,
सोशल मीडिया में अपने दुष्प्रचार को बढ़ाने के लिए खालिस्तान समर्थकों ने कई
नए अकाउंट बनाए। इन सभी अकाउन्ट्स पर #FreeAmritpalSingh,
#AmritpalSinghKhalsa, #Punjabundersiege जैसे ट्रेंड्स चलाए जा रहे हैं।
यह सभी अकाउंट पंजाब पुलिस के ऑपरेशन के बाद बनाए गए हैं।
भारत के खिलाफ पाकिस्तान से भी सहयोग,
भारत का विभाजन कर अलग देश
खालिस्तान के समर्थन में पाकिस्तान से भी लोग सहयोग कर रहे हैं। पाकिस्तान
के कई ट्वीटर अकाउन्ट्स लगातार अमृतपाल और खालिस्तान के समर्थन में लिख रहे
हैं।
खालिस्तान समर्थकों के दुष्प्रचार की अगली कड़ी हम जल्द ही प्रकाशित करेंगे।
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